पिछले सप्ताह इस मादा शावक को छोड़ दिया था दल ने
जशपुर। जशपुर वनमण्डल अंतर्गत परिक्षेत्र तपकरा की बीट समडमा Beat samadma of area Tapkara under Jashpur forest division में हाथी दल से बिछड़ी मादा शावक फिलहाल वन विभाग की निगरानी में है। उसके स्वास्थ्य का पूरा ध्यान रखा जा रहा है।
उल्लेखनीय है कि विगत सप्ताह मंगलवार 13 सितम्बर 2022 को सुबह हाथी दल से बिछुड़ कर डेढ़ माह की एक मादा हाथी शावक ईब नदी के किनारे ग्राम समडमा में आ गई। जिसकी सूचना ग्रामीणों द्वारा वन विभाग को दी गई। सूचना प्राप्त होते ही परिसर रक्षक समडमा ने शावक को अपनी अभिरक्षा में लेकर इसकी सूचना अपने वरिष्ठ अधिकारियों को दी।
वन अमले द्वारा उप संचालक पशु चिकित्सा को सूचित किए जाने पर उनके द्वारा पशु चिकित्सक तपकरा को मौके पर भेजा गया। पशु चिकित्सक द्वारा शावक का स्वास्थ्य परीक्षण किया गया। उनकी सलाह पर आहार प्रदाय किया गया। तदोपरांत वन अमले एवं हाथी मित्र दल द्वारा निकटतम वन में हाथी झुंड को खोजने का प्रयास प्रारम्भ किया गया।
उनके द्वारा लगभग दोपहर 3 बजे हाथी दल की उपस्थिति ज्ञात होने पर शावक को हाथी दल के निकट छोड़ा गया। छोड़े जाने के बाद यह मादा शावक अपने हाथी दल में शामिल हो गई। हाथी दल की निगरानी वन अमले द्वारा रात भर की गई।
14 सितम्बर को सुबह 5 बजे यह मादा शावक फिर बिछुड़ कर ग्रामीण क्षेत्र में वापस लौट आई। जिसे वन अमले एवं पशु चिकित्सकों की निगरानी में सुरक्षित रखा गया। सुबह 8.30 बजे पुनः हाथी दल की उपस्थिति में निकटतम वन में ज्ञात करने के लिए ट्रेकिंग की गई।
ट्रेकिंग दल द्वारा वन में हाथी दल को देखने के उपरांत शावक का पुनः स्वास्थ्य परीक्षण करा कर हाथी शावक को नजदीकी वन क्षेत्र जिसके पास हाथी दल मौजूद था के पास ले जाया गया। शावक द्वारा आवाज करने पर हाथी झुड़ से भी निरंतर आवाज आने लगी और यह मादा शावक अपने हाथी दल के पास चली गई एवं हाथी दल में शामिल हो गई। इसके बाद वन अमले एवं हाथी मित्र दल द्वारा हाथी दल की सतत् निगरानी रखी गई।
आश्चर्य की बात यह है कि यह मादा हाथी शावक 15 सितम्बर को सुबह 5.45 बजे ग्राम साको में फिर देखी गई। हाथी शावक को वन अमले द्वारा अपने अभिरक्षा में लेने के उपरांत पशु चिकित्सकों द्वारा स्वास्थ्य परीक्षण किया गया। इस दौरान उन्हें शावक के अम्बिलिकल में सूजन दिखाई दिया। जिसका उपचार तत्काल प्रारम्भ कर दिया गया।
वन अमले एवं हाथी मित्र दल द्वारा हाथी दल की उपस्थिति ज्ञात करने हेतु लगातार ट्रेकिंग किया जा रहा है। ट्रेकिंग के दौरान 17 सितम्बर को ज्ञात हुआ है कि हाथियों का झुंड उड़ीसा राज्य की ओर निकल गया है। इस दौरान शावक का स्वास्थ्य परीक्षण एवं उसका देख-रेख पशुचिकित्सकों द्वारा किया जा रहा है।
हाथी शावक को परिसर में सुरक्षित अभिरक्षा में रखा गया है। उसी परिसर में दोनो पशु चिकित्सक निरंतर उपस्थित रह कर शावक की देख-रेख कर रहे है। हाथी शावक का पूरा-पूरा ख्याल रखा जा रहा है एवं वन अमले द्वारा सतत् निगरानी रखी जा रही है। पशु चिकित्सकों की सलाह एवं सुझाव पर शावक को आहार दिया जा रहा है।